हेलो दोस्तों मैं आदित्य, आज मैं एक नई सेक्स स्टोरी लेकर आ गई हूं जिसका नाम है “शहर वाली अमीर भाभी की हवस-hot bhabhi xxx chudai भाग-1” यह कहानी मनीष की है आगे की कहानी वह आपको खुद बताएँगे मुझे यकीन है कि आप सभी को यह पसंद आएगी।
मेरा नाम मनीष है, मैं 25 साल का हूँ।
काफी प्रयास करने के बाद मुझे सफलता नहीं मिली, तो मैंने दिल्ली जाकर कोई निजी नौकरी करने का फैसला लिया।
हमारे गांव में एक भैया (मेरे सगे भाई नहीं) दिल्ली में बहुत बड़ी सैलरी की नौकरी करते थे।
उनकी सुंदर बीवी, लंबी गाड़ी और महंगे शौक देखकर हम सब भी उनकी तरह बनना चाहते थे।
मैंने उसी भैया के पास जाकर मिलने का प्लान बनाया.
तो भैया ने अगले दिन मुझे अपने ऑफिस आने के लिए बोल दिया। hot bhabhi xxx chudai
मैंने वहां जाकर जो रंग देखा, मुझे बहुत जलन महसूस होने लगी कि कैसे ये लोग अपनी जिंदगी के मजे ले रहे हैं और हम गांव में बस ऐसे ही जी रहे हैं।
मैं भैया से मिला, तो भैया ने बोला, “तू थोड़ी देर बाहर इंतजार कर, मैं तेरी नौकरी का इंतजाम कर दूंगा।”
मैं बाहर बैठकर ऑफिस के माहौल को देखने लगा।
लड़कियां सब गोरी-गोरी थीं। जींस में उनके चूतड़ साफ दिख रहे थे।
और एक-दो ने स्कर्ट की तरह पहना हुआ था, जिससे उनकी नंगी टांगें बहुत मस्त लग रही थीं।
मेरा तो लंड खड़ा हो गया उन साली को देखकर, उनके टाइट कपड़े चूची को बिल्कुल साफ दिखा रहे थे, एक-दो लड़की की ब्रा की बनावट भी अच्छे से समझ आ रही थी।
मैंने सोच लिया कि गांव में तो कोई लड़की फंसी नहीं, पर यहां तो थोड़े पैसे कमाकर, अपना रंग-ढंग ठीक करके, ऐसे ही किसी मस्त माल को फंसाऊंगा।
एक बार मेरे लंड के नीचे आ गई, फिर तो मैं उसको ऐसे चोदूंगा कि मेरी दीवानी बन जाए।
आज तक जितना दूध-घी खाकर मेहनत की है, सब चूत में भर दूंगा।
मैं अपने सपनों में खोया रहा कि शाम हो गई और भैया ने बोला, “घर चल, तेरी नौकरी का इंतजाम हो गया।”
मैं उनके साथ गाड़ी में बैठ गया, तो उन्होंने बोला कि तू मेरे घर पर रहना, अपनी भाभी के साथ घर के काम में मदद करवा देना और बच्चों को स्कूल में लाने-ले जाने का काम भी तेरा है।
मैंने हां बोल दिया। hot bhabhi xxx chudai
भैया ने कहा कि तुझे रहने-खाने के लिए सब घर में मिलेगा और 12 हजार रुपये सैलरी।
वैसे तो 12 हजार रुपये पूरा फ्री में बच रहे हैं, तो ठीक है। पर आज मेरी इतनी पढ़ाई सब खराब, मैं बस ड्राइवर और हेल्पर बन गया।
और ऑफिस में जो सपना देखा था, वो भी टूट गया।
हम भैया के घर आ गए, उनकी पत्नी ने दरवाजा खोला, वो गोरी-गोरी, दूध के जैसे और काली साड़ी पहनी हुई बहुत मस्त लग रही थी।
वैसे तो मैंने उन्हें गांव में आने पर भी देखा था पर कभी उनके साथ बोलने का मौका नहीं मिला।
भाभी मुझे देख ज्यादा खुश नहीं हुई और ना ही उन्होंने मुझसे कोई बात की।
हम सब खाना खाकर सोने लगे, तो उनके दोनों बच्चे मेरे साथ खेलने लगे।
गोलू और प्रियांक अभी छोटे बच्चे थे, तो उन्हें मुझे अपना बनाने में कोई प्रॉब्लम नहीं हुई।
थोड़ी ही देर में मैं उनके साथ घुल-मिल गया और रात को उनके कमरे में ही सो गया।
अगली सुबह मैं तो गांव की तरह 6 बजे उठ गया।
मैंने किचन में रखे बर्तन देखे, तो मुझे समझ आ गया कि यही मेरी जिंदगी है अब!
मैंने बर्तन साफ किए और घर में सफाई की, फिर गार्डन में जाकर दोनों गाड़ी को धोया और पूरे गार्डन में पानी दिया, वैसे भी वो बहुत छोटा था।
गोलू और प्रियांक मेरे पास आ गए, तो मैं उनके साथ खेलते हुए अपना काम करने लगा।
फिर भाभी अपनी रात वाली साड़ी को ठीक करते हुए मेरे पास आई. hot bhabhi xxx chudai
तो मैं समझ गया कि रात में इसकी कितनी बुरी तरह चुदाई हुई होगी।
मन तो करता था कि इस गोरे जिस्म को चबा-चबाकर खा जाऊं.
पर मैं अपनी भाभी के बारे में ऐसे सोचकर थोड़ा डर गया और सोचा कि कैसे भी काम करके मैं भाभी के साथ थोड़ा जुड़ जाऊं, फिर किसी को भी फंसाकर अपनी सेक्स लाइफ को थोड़ा ठीक कर लूंगा।
मैं 3-4 दिन भाभी के साथ घर के सारे काम में मदद करने लगा और बच्चों के साथ भी अच्छे से जुड़ गया।
एक दिन वो बच्चे मेरे मोबाइल में गेम खेल रहे थे.
तो भाभी ने देख लिया और उनके ऊपर गुस्सा किया.
मैं बस चुप होकर देखता रहा।
फिर भाभी मेरे पास आई और बोली कि अपना मोबाइल बच्चों को मत देना, इसमें तुम्हारा पर्सनल डाटा होगा और ये अभी बच्चे हैं।
मैंने कहा, “भाभी, मेरी जिंदगी में कुछ पर्सनल नहीं है। वैसे भी मिडल क्लास लड़कों की जिंदगी या तो खराब होती है या फिर संघर्ष करके खत्म हो जाती है।”
भाभी ये सुनकर चुप हो गई।
पर मेरी गांड फट गई और लगा आज तेरी नौकरी गई। hot bhabhi xxx chudai
शाम को हम सब पार्क में गए, तो भाभी ने पति को कॉल करने का बहाना बनाकर फोन लिया।
मैं समझ गया कि वो मोबाइल चेक करेंगी.
पर क्या फर्क पड़ता है, मेरे मोबाइल में कुछ नहीं मिलेगा।
तो मैं मोबाइल भाभी को देकर वहां बैठी हुई दूसरी गोरी-गोरी भाभी और लड़कियों के मस्त शरीर का मजा लेने लगा।
अब भाभी का नजरिया बदल गया, या फिर मैं बोलूं तो वो पहले से ज्यादा ख्याल रखने लगी।
वैसे भी मेरा पूरा दिन उसके साथ ही गुजरता है।
रात को मैं बच्चों के साथ सोता था और भाभी-भैया दूसरे कमरे में ब्लू फिल्म वाले गंदे काम करके मजे लेते हैं।
मैं अपने मन ही मन में अपनी झंड जिंदगी को सोचने लगा।
कैसे 25 साल का जवान लड़का तन्हाई में अपनी रात गुजारता है।
अगली सुबह भाभी ने पूछा, “क्या तुम शादी नहीं करोगे?”
तो मैं बोला, “भाभी, मैं 12 हजार रुपये की नौकरी करके अपने मम्मी-पापा की मदद करता हूँ। शादी कर ली, तो मेरी वाइफ का खर्चा कौन उठाएगा?”
मेरे भैया ये बात सुनकर बोले, “कोमल, मनीष की सैलरी थोड़ा बढ़ाकर देना अभी से।”
भैया के ऑफिस जाने के बाद भाभी ने मुझे 15 हजार रुपये दिए और बोली, “तुम ठीक से बात करके अच्छे कपड़े लेकर आओ। मैंने तुम्हारे लिए एक लड़की पसंद की है, शाम को उनके घर जाना है।”
मैंने सोचा, भाभी ने इतना प्यार कैसे दिखा रही है।
मैं ये सब छोड़कर अच्छे से हेयर सेट किए और नए कपड़े पहनकर मस्त रेडी हुआ और कई बार खुद को देखा और सोचा, पैसे हों तो लाइफ कितनी मस्त है।
आज तो एक-दो लड़की का पानी निकाल ही दूंगा। hot bhabhi xxx chudai
सरकारी नौकरी की तैयारी में इतनी रनिंग की और शरीर बनाया, वो नौकरी तो नहीं मिली, पर इतना मस्त शरीर क्या सबके पास होता है।
और इन जैसे पेट निकले हुए लोगों के बीच में तो मैं हॉलीवुड का हीरो लगूंगा।
मैं जब घर गया, तो भाभी कमरे से बाहर निकल रही थी, मुझे देखकर वही दरवाजे के पास खड़ी हो गई।
मुझे लगा भाभी तो फंस गई आज!
पर उन्हें चक्कर आया और वो गिर गई।
मैं भागकर उनके पास गया और उन्हें उठाकर बेड पर लिटा दिया।
मैंने बार-बार उनसे पूछा कि क्या हुआ, पर वो कुछ नहीं बोली.
तो मैंने डरकर भाई को फोन कर दिया।
मैं दोनों का खाना बेड पर ही ले आया और भाभी ने खाना खाया।
अगले दिन भैया काम पर नहीं गए और बार-बार डॉक्टर के पास जाने की जिद की, पर भाभी नहीं गई।
पूरा दिन ऐसे ही निकल गया और भैया-भाभी अपने कमरे में ही रहे।
शाम को भैया बाहर गए और मैंने खाना बनाया और बच्चों को खाना खिलाकर उनका खाना रूम में ले गया, तो भाभी बोली- बच्चों को सुला देना, मैं थोड़ी देर बाद आऊंगी।
बच्चे सो गए तो भाभी धीरे से मेरे पास आई और बोली, “मनीष, आओ, तुम भी एक-दो पेग मार लो।”
तो मैंने जवाब दिया, “भाई को पता चल गया तो…”
भाभी बोली, “हम सब पीते हैं, कुछ नहीं होगा, तू आ जा।”
मैं भाभी के पीछे-पीछे कमरे में आ गया, वहां भाई लेटा हुआ था, तो मैंने भाई की तरफ इशारा किया।
तो भाभी ने मुझे बेड पर चुप से बैठने को बोला।
फिर हमने दो-दो पैग लिए, वो बोतल खत्म हो गई। hot bhabhi xxx chudai
भाभी बोली, “और पीनी है क्या मनीष?”
मैं बोला, “भाभी, अभी तो रात हो गई।”
भाभी बोली, “कोई बात नहीं, हम पब में चलेंगे।”
और हम दोनों बाहर आ गए।
मैंने गाड़ी का लॉक ओपन किया, तो भाभी डर गई कि कहीं मेरे पति उठ गए, तो उन्होंने चुप से गाड़ी निकालने को बोला।
हम दोनों गाड़ी में बैठकर जा रहे थे, तो रास्ते सुनसान थे, क्योंकि ये अंदर कॉलोनी की सड़क है।
थोड़ी मदहोश होकर भाभी बोली, “मनीष, तुमने कभी सेक्स किया है?”
मैंने अचानक ब्रेक मार दिए और भाभी के मुंह की तरफ देखने लगा।
भाभी बोली, “यार, तुम जवान हो और कोई लवर नहीं, तो…”
मैं बोला, “भाभी, मुझे कौन देगी, मैं तो ऐसे ही…”
भाभी ने उसको अपनी चूची के ऊपर खींच लिया और उसके सिर को दबाकर बोली, “चूसो इन्हें…”
मेरे दिमाग में वो आंटी वाला सीन याद आ गया, जो वीडियो में अक्सर देखने को मिलता है। hot bhabhi xxx chudai
भाभी की अंतर्वासना की आग को मैं समझ गया तो मैंने भी अपनी भाभी को पूरी तरह संतुष्टि देने का मन बना लिया।
मैं पागल की तरह उनकी क्लीवेज और गर्दन में चूसने लगा।
अन्तर्वासना3 हॉट भाभी उफ्फ आह करके अंगड़ाई लेकर अपने पैर खोलने लगी।
मैंने भाभी की कमर को पकड़कर ऊपर खींचा और भाभी के ब्लाउज के ऊपर से चूची को चूसने लगा, पर ब्रा और ब्लाउज मेरे रास्ते का रोड़ा बन गए।
मैंने दांत से पकड़कर ब्लाउज को फाड़ना चाहा, पर मुंह में भाभी का चूची वाला हिस्सा आ गया और नशे में चूर मैंने दांत से पकड़कर ब्लाउज को खींच दिया.
भाभी की चूची भी उसके साथ खिंची और भाभी के मुंह से चीख निकल गई, “आह्ह्ह्ह माँ… मर गई, कुत्ते, काट दिया।”
भाभी के हाथ से धकेलने के बाद मैं थोड़ा होश में आया और अलग हो गया।
फिर मैंने चारों तरफ देखा, तो कोई सुनने वाला नहीं था, गाड़ी में से आवाज बाहर नहीं जाएगी और इस सड़क पर गाड़ी भी कॉलोनी वाले लोग ही चलाते हैं।
मैं चुप हो गया डर की वजह से, तो भाभी ने बात शुरू की, “देखो, हम सड़क के बीच में खड़े हैं, रात में कोई आ गया तो…”
मैं बोला, “भाभी, ये हमारी सोसाइटी का सड़क है। यहां इतना ट्रैफिक नहीं है।”
भाभी ने बोला, “फिर भी कोई ना कोई आ ही जाता है।”
भाभी अपनी चूची को दबाकर अपने दर्द को सहन करने लगी और मैं चुप होकर गाड़ी चलाने लगा।
हम पब की पार्किंग में गए, तो वहां सिक्योरिटी गार्ड ने पार्किंग में खड़ी करने को बोला।
भाभी अपनी चूची के दर्द कम होने से अब मूड में आ गई।
उन्होंने सिक्योरिटी वाले को बोला, “हमें आज यही गाड़ी में पीनी है। तुम्हें जितने पैसे चाहिए, बोलो।”
तो सिक्योरिटी वाले ने अपना फोन निकालकर “एक फोन करने दो मैडम” ऐसे बोलकर वो दूर चला गया।
शायद उसको अपने कमिशन की बात करनी होगी।
फिर दूसरा लड़का आया और एक वोडका की बोतल, 2 गिलास और एक बॉक्स में खाने के लिए स्नैक्स।
उसने मुझे वो सामान दे दिया, तो भाभी ने बोला, “कितना हुआ?”
वो लड़का बोला, “मैडम, पांच हजार मुझे दे दो और पांच सौ मिश्रा को।” hot bhabhi xxx chudai
भाभी ने उसको 5 हजार दिए और मिश्रा को भेजने के लिए बोला।
वो सिक्योरिटी वाला मिश्रा आ गया।
भाभी ने उसको 2 नोट दिये और बोला कि पूरी रात हमें गाड़ी में कोई डिस्टर्ब नहीं करेगा।
मिश्रा ने एक कोने की तरफ हाथ करके बोला, “मैडम, वहां पर पार्क कर लो, सुबह 8 बजे तक कोई नहीं आपको परेशान करेगा।”
हमने कोने में गाड़ी पार्क की और पीना शुरू किया।
मेरा मन फिर से भाभी की चूची चूसने का हुआ तो मैंने थोड़ा डर कर पूछा, “भाभी, ज्यादा दर्द तो नहीं हुआ?”
भाभी ने आंख मारकर बोला, “अब हरामी, तू चूसने वाली चीज को चबाकर खाएगा, दर्द तो होगा।”
मैंने सॉरी बोला और उनके पैर छूने लगा।
पर भाभी ने मेरा चेहरा पर अपना हाथ रखा और बोली, “पैर मत छू, तू तो प्यारा देवर है मेरा। तेरी जगह तो मेरी ब्रा के अंदर है।”
वो बात सुनकर मैं मुस्कुराया और बोला, “भाभी, मुझे माफ कर दिया आपने?”
भाभी बोली, “माफ तो कर दूंगी। पर अब तुम्हें मेरे शरीर का एक-एक कपड़ा फाड़कर निकालना है।”
मैं नशे में चूर भाभी की साड़ी को पकड़कर खींचने लगा।
भाभी ने कंधे पर पिन नहीं लगाया था तो साड़ी उतर गई और दोनों कंधे नंगे हो गए।
चूची के उभार साफ दिखने लगे, जैसे ब्लाउज को फाड़कर बाहर निकल जाएंगे।
मैंने हाथ आगे किया तो भाभी ने थोड़ा गुस्सा दिखाकर बोला, “हाथ से नहीं खींचना है।”
तो मैंने भाभी की तरफ सवाल की नजरों से देखा।
भाभी बोली, “तू अपने होठों से पकड़कर खींच सकता है, चाहे तो दांत से काट लेना, पर मुझे दर्द नहीं होना चाहिए।”
मैंने अपने होठों से पकड़कर उनके ब्लाउज को खींचा, टाइट ब्लाउज का कुछ नहीं हुआ।
भाभी हंसने लगी, तो मैंने गुस्से में ब्लाउज को दांत में पकड़कर खींच दिया और ब्लाउज के हुक टूट गए।
भाभी की ब्लैक ब्रा दिखने लगी। hot bhabhi xxx chudai
पर 4 में से एक नीचे का हुक पूरी तरह से अलग नहीं हुआ था, तो मैं नीचे से दांत में पकड़ने लगा और चूची के नीचे वाले हिस्से में बार-बार उसके होंठ चूम रहे थे, जिससे उनके शरीर में सिहरन उठ रही थी।
मैंने जैसे ही अगली बार ब्लाउज के नीचे से पकड़ा, तो ब्रा की इलास्टिक भी दांत में फंस गई और खींचने से ब्रा और ब्लाउज आगे की तरफ खिंच गए।
ब्लाउज तो पूरा खुल गया, पर ब्रा पीछे से बंधी थी और इलास्टिक होने से ब्रा भाभी की चूची पर आकर जोर से लगी।
भाभी दर्द से कराह उठी, उनके मुंह से गाली निकल गई, “साले कुत्ते, आराम से फाड़, दर्द होता है।”
मैं बोला, “भाभी, आप बार-बार हिल रही हो, तो दांत में ठीक से पकड़ा नहीं जा रहा है।”
भाभी ने बोला, “पीछे की सीट पर चलो।”
अब जैसे ही फ्रंट सीट से पीछे जाने लगी, तो मुझे भाभी की मोटी गांड देखकर हवस चढ़ गई।
मैंने सोचा, पहले इस साड़ी को उतार दूं।
मैंने भाभी की कमर पर होंठ रखे और पेटीकोट के नाड़े को मुंह में पकड़ लिया।
भाभी तो अपनी कमर पर किस का मजा ले रही थी, पर भाभी जब तक समझ पाती, नाड़ा टूटने वाला है।
मैंने मुंह को पीछे की तरफ खींचा, तो भाभी भी थोड़ा आगे की तरफ बढ़ी।
नाड़ा टूट गया, साड़ी और पेटीकोट नीचे भाभी के पैरों के पंजों पर गिर गए।
अब भाभी थोंग पैंटी में थी।
मैं भाभी के चूतड़ का ज्यादा हिस्सा दिख रहा था।
और उनकी टाइट पैंटी में गांड की दरार साफ दिख रही थी। hot bhabhi xxx chudai
मैं भाभी के मदमस्त मोटे-मोटे चूतड़ देखकर पागल हो गया, क्या माल है साली, इसको तो आज पूरी रात चोदूंगा।
भाभी इसी पोजीशन में बैक सीट पर हाथ रखकर झुक गई, जैसे वो गिरने वाली थी।
मैंने गिरने से बचाने के लिए भाभी की नंगी कमर को पकड़ लिया और धीरे से मेरे हाथ उनकी चूची पर चले गए, आह कितनी मस्त मोटे चूची।
भाभी ने गुस्से में कहा, “तुमने रूल तोड़ दिया, हाथ नहीं लगाना था।”
मैं डर गया, जैसे अब नंगी भाभी की चूत और चूचों का दर्शन नहीं मिलेगा, साली पूरी मेहनत खराब।
मैंने बोला, “भाभी, आप गिर जाओगे, इसलिए पकड़ा।”
भाभी ने नखरा दिखाकर बोला, “कुछ बहाना नहीं, अब तो रूल ब्रेक हो गया। तुम्हें रूल ब्रेक करने के लिए सजा मिलेगी।”
मैं तपाक से बोला, “क्या सजा भाभी?”
भाभी ने ऑर्डर दिया कि, “तुम अपने सारे कपड़े उतार दो, तो गेम कंटिन्यू कर सकते हैं।”
मुझे तो अपने कपड़े उतारने में एक मिनट भी नहीं लगा और मैं फट से नंगा और झट से भाभी के ऊपर चढ़ गया, जिससे मेरे नंगे जिस्म को उनके आधे नंगे जिस्म पर रगड़कर उन्हें बताऊं कि उनका देवर अपनी भाभी के लिए कुछ भी करेगा।
भाभी ने अपनी गांड वाले हिस्से को मेरी जांघ और लंड पर रगड़कर इशारा किया, तो मैं ब्लाउज को खींचने लगा।
पर ब्लाउज फटना उतना आसान नहीं था, भाभी ने हाथ फ्री करके उसको ब्लाउज निकालने दिया और ब्लाउज निकल गया।
अब मेरा निशाना भाभी की ब्रा का हुक था और मुझे डर था कि ब्रा की इलास्टिक को खींचकर छोड़ेगा, तो भाभी को कितना दर्द होगा कमर पर; पर उन्हें दर्द देने में मजा आ रहा था।
मैं कमर को चूमकर हुक के पास वाला हिस्सा दांत में पकड़ लिया।
जैसे ही मैंने ऊपर की तरफ खींचा, तो भाभी ने अपने आगे वाले हिस्से को ऊपर उठा दिया, तो मेरा सिर गाड़ी की छत में लगा और मेरे मुंह से इलास्टिक निकल गई।
मुझे दर्द तो हुआ, पर शराब और भाभी का नंगा शबाब उसके सामने दर्द कुछ भी नहीं।
मैंने अपनी लंड वाले हिस्से को भाभी की गांड पर रगड़कर उन्हें झुकने के लिए बोला, तो भाभी की आह निकल गई। hot bhabhi xxx chudai
मैंने फिर से उनकी कमर को चूमा और ब्रा की इलास्टिक को पकड़कर झटका मारा, ब्रा के हुक टूट गए और इलास्टिक भाभी की कमर पर लगी।
उन्हें दर्द हुआ और भाभी के शरीर के हिलने से फिर से चूतड़ वाला हिस्सा मेरे लंड और जांघों पर रगड़ गया।
भाभी के 36 साइज के मोटे चूचे लटक गए और ब्रा उंगलियों के पास बैक सीट पर गिर गई।
मैं डोगी स्टाइल वाली कुतिया बन चुकी भाभी के पीछे गया और पैंटी की इलास्टिक पकड़कर नीचे की तरफ की।
मेरे होंठ भाभी के नंगे चूतड़ की लकीर से जांघों पर रगड़ गई।
मैं बोला, “भाभी, अब सीट पर बैठ जाओ, अपनी लेग्स उठाओ, मुझे पैंटी को पूरा उतारना है।”
आज पहली बार भाभी अपने देवर की ऑर्डर मानने वाली थी।
भाभी बैठकर अपनी टांग उसके कंधे पर रखी, तो मैंने मुंह से पैंटी पकड़कर खींच दी।
पैंटी नीचे होकर पायल में फंस गई, तो मैं जोर-जोर से खींचने लगा और पैंटी का मुंह वाला हिस्सा फटकर मेरे मुंह में फंस गया।
मैंने फिर से पकड़कर खींचा। hot bhabhi xxx chudai
पर पैंटी नहीं निकली.
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