दोस्तों अपने आप को तैयार कीजिए, और चलते है एक बहुत ही मजेदार सफर पर, जहां आपको जन्नत के दरवाजे खुले मिलते हैं। मैं किसी और चीज की बात नहीं कर रहा हूं। बात है चुदाई की, और वो भी मेरी मलंग मां की।
दोस्तों पारुल का बदन बेहद खूबसूरत है, जिसे हर मर्द छूना चाहेगा, और काफी लोग उसके साथ इश्क करना चाहते है। ऐसा इसलिए है, क्योंकि 34″ की चूचियां, 30″ की चिकनी कमर, 36″ के मस्त चूतड़, और भरी जांघें लेकर जब वो चलती है, तो देखने वालों का लंड पूरा तन जाता है।
ऐसा ही एक किस्सा आज आपको बताने जा रहा हूं। (desi maa ko chudwaya)
करीब 7-8 महीने पहले हमारे मोहल्ले में एक नया मर्द रहने आया था, और उसका हमारे घर अच्छा आना-जाना लग गया। उसका नाम सुदर्शन है, और उसका फिट शरीर है। थोड़ा-थोड़ा काला रंग है, लेकिन पूरी तरह से वासना से भरा हुआ आदमी है, जिसका 8 इंच का मस्त काला लंड है।
मैंने जब उन्हें शुरू-शुरू में देखा था, तो उसी वक्त मेरी ये तमन्ना बन गई, कि काश ये मेरा बाप होता, और पारुल को एक मस्त चुदक्कड़ औरत बना कर रखता। मेरे सामने रोज पारुल को चोदता, और मैं सुदर्शन का लंड पकड़ कर पारुल के मुंह में डालता, और पारुल की चूत और गांड चाट कर उसका लौड़ा पारुल की चूत में डालता।(desi maa ko chudwaya)
कुछ समय बीतने के बाद जब एक दिन सुदर्शन ने मुझसे मेरी मां का नंबर मांगा, तो मैंने भी तुरंत पारुल का नंबर दे दिया। लेकिन साथ में उन्होंने मुझसे मेरा भी नंबर मांगा। तो मैंने भी मेरा नंबर दे दिया, और फिर मैं घर आ गया। घर आते मैंने देखा कि मेरा घटिया बाप पारुल से लड़ रहा था।
मैं अपने कमरे में जाकर सोचने लगा कि सुदर्शन ने नंबर क्यों मांगा। फिर रात में खाना खाकर जैसे ही मैं अपने कमरे में जाने लगा, तभी मेरा बाप फिर से पारुल से लड़ने लगा। कमरे में जाते ही सुदर्शन का फोन मेरे पास आया, और उन्होंने मुझसे पूछा-
सुदर्शन: बेटा ये पीछे से आवाज क्या आ रही है? जैसे कि कोई चिल्ला रहा है।
मैंने भी बोल दिया: मेरा बाप मेरी मां से लड़ रहा है।(desi maa ko chudwaya)
फिर सुदर्शन ने मुझसे खुल कर बात की और सुदर्शन ने मुझसे कहा: बेटा क्या तेरा बाप ऐसे ही तुम्हारी मां से लड़ता है?
मैंने कहा: हां अंकल, पता नहीं क्यों।
सुदर्शन: अच्छा, लेकिन तुम्हारी मां तो इतनी अच्छी है, संस्कारी और सुंदर है।
मैंने कहा: हां अंकल, इतनी खूबसूरत बीवी से कौन लड़ता है?
सुदर्शन: बिल्कुल बेटा, प्यार करने का मन करता है बस। अगर मेरी इतनी खूबसूरत बीवी होती, तो उसे बहुत मजे देता, और खुश रखता।(desi maa ko chudwaya)
मैंने कहा: लेकिन मेरा बाप ये समझता ही नहीं।
सुदर्शन: अच्छा बेटा तुम ये बताओ, कि तुम्हारा बाप कब घर आता है? और कब घर से जाता है?
मैंने कहा: सुबह 9 बजे चला जाता है, और रात को 7 बजे आता है। कभी-कभी देर भी हो जाती है।
सुदर्शन: अच्छा, चलो ठीक है तुम्हारी मां को खुश देखना चाहते हो?(desi maa ko chudwaya)
मैंने कहा: हां अंकल, अगर सच बताऊं तो कभी-कभी मन करता कोई नया बाप मिल जाए, जो मेरी मां को खुश रखे।
सुदर्शन: अच्छा बेटा, वैसे अब तुम बड़े हो गए हो, सब समझते हो, औरत मर्द तभी साथ में तभी खुश रह सकते है, जब उनके बीच में सारी इच्छाएं अच्छे से पूरी हो। मानसिक और शारीरिक दोनों तरीके से।
मैंने कहा: हां अंकल, ये बात तो है। मुझे तो नहीं लगता मेरी मम्मी की इच्छाएं पूरी होती होंगी।
सुदर्शन: वैसे बुरा ना मानो तो एक बात बोलूं?
मैं: हां अंकल बिल्कुल। आप से बात करके काफी अच्छा लग रहा है। बोलो खुल कर।
सुदर्शन: कैसे बोलूं, मुझे समझ नहीं आ रहा?(desi maa ko chudwaya)
मैं: खुल कर बोलो अंकल, जो भी हो मैं बुरा नहीं मानूंगा, और मैं ये वादा करता हूं।
सुदर्शन: तुम्हें नया बाप चाहिए?
मैं: हां अंकल बिल्कुल, मेरा ये बाप तो बहुत गंदा है, और बस डांटता रहता है मुझे और मेरी मां को।
सुदर्शन: मैं बन जाऊं क्या तुम्हारा नया बाप?, देखो बुरा मत लगाना।(desi maa ko chudwaya)
मैं: अंकल बुरा क्या इसमें? सच बताऊं तो आपसे बात करके ऐसा लग रहा है मैं किसी अपने से बात कर रहा हूं।
सुदर्शन: बेटा, तुम्हारी मां बहुत सेक्सी है। उनका फिगर बहुत मस्त है। मुझे बहुत पसंद है इसलिए बोला।
मैं: हां अंकल, देखो ना मेरा बाप ये समझता नहीं कि कितनी हॉट और सेक्सी वाइफ मिली हुई है। उसके साथ मजे करे, साला लड़ता रहता है बस।(desi maa ko chudwaya)
सुदर्शन: कोई बात नहीं बेटा, मुझसे शेयर कर सकते हो तुम अब सब कुछ जो भी हो। मुझे अपना बाप समझो।
मैं: चलो अब बताओ आपको कैसी लगती है पारुल?
सुदर्शन: एक-दम कड़क माल, गांड, चूची, होंठ,सब बेहद कड़क है बेटा। तुमसे क्या छुपाऊं, अब मेरा मन करता है उसे ज़िंदगी भर चोदता रहूं। देखते ही मेरा लंड तन जाता है।
मैं: उफ्फ अंकल, सच बताऊं तो मेरा यहीं मन है कि आप उसे मेरे सामने चोदो, और मैं आपका लंड पकड़ कर उसके मुंह और चूत में डालूं।
सुदर्शन: उफ्फ बेटा क्या मजा आएगा तब तो। तुम्हारा मन नहीं करता इतनी मस्त मां के साथ करने का? बेटा देखो, औरत है, मर्द का मन करता है, बेशक फिर वो मां बहन कोई भी हो।
मैं: करता है अंकल। लेकिन असल मज़ा उसको चुदते हुए देखने में है। मैं सारा दिन पारुल के भरे बदन की कल्पना करता हूं और अपना लंड सहलाता हूं। आप अब मेरे बाप हो, तो कुछ करो ना पारुल के साथ।(desi maa ko chudwaya)
सुदर्शन: बेटा बहुत मन है उसकी चुदाई करने का। तुम्हे भी मौका दिलवाऊंगा, और उसे एक चुदक्कड़ औरत बना दूंगा। तुम मेरा लंड पकड़ कर पारुल के बदन का एक-एक इंच नापना।
मैं: सुदर्शन पापा मेरा खड़ा हो गया।
सुदर्शन: मेरा तो कब से खड़ा है। पारुल की खूबसूरत पिक्स भेजो ना मेरे बेटे। मेरा लंड देखना चाहोगे?
मैं: हां सुदर्शन पापा, भेजो मैं भी पारुल की पिक्स भेजता हूं।(desi maa ko chudwaya)
फिर मैंने सुदर्शन पापा के पास मेरी मां पारुल की पिक्स भेजी, और उन्होंने अपने लंड की फोटो भेजी। उनका लंड देखते ही मेरा मन था कि इसको पकड़ कर पारुल की गांड में डाल दूं। बेहद कड़क और खूबसूरत लंड जिसे पा कर पारुल धन्य हो जाए।
फिर मैंने और सुदर्शन पापा ने साथ में पारुल के नाम की मुठ लगाई और सो गए। दोस्तों आगे क्या हुआ, बने रहिए मेरे साथ उसे जानने के लिए।(desi maa ko chudwaya)
कहानी का दूसरा भाग : chudwaya desi maa ko
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