हेलो दोस्तों मैं आदित्य, आज मैं एक नई सेक्स स्टोरी लेकर आ गई हूं जिसका नाम है “पंजाबन दीदी की चूत चोदी झाड़ियों में-sexy sister ko choda” यह कहानी विजय की है आगे की कहानी वह आपको खुद बताएँगे मुझे यकीन है कि आप सभी को यह पसंद आएगी।
नमस्कार दोस्तो, मेरा नाम विजय है और मैं चंडीगढ़ का रहने वाला हूँ.
यह कहानी मेरे साथ बीती हुई मेरी बड़ी बहन की चुदाई की है
मेरा वादा है कि सेक्स कहानी को पढ़ते पढ़ते आप अपना लंड और चूत सहलाने लग जाओगे.
मेरी दीदी का नाम हर्षि है और उसकी शादी पंजाब में भटिंडा में हुई है.
उनकी उम्र 26 साल है और मेरा जीजा विदेश में रहता है. sexy sister ko choda
मैं तो दीदी को 17 साल की उम्र से ही चोदने का सपना देख रहा हूँ.
पर मुझे नहीं पता था कि वो सपना अब पूरा होने वाला है. मैंने हॉट बहन की गांड मारी और चूत भी.
एक दिन मम्मी और पापा ने मंसूरी जाने का प्रोग्राम बनाया.
हम लोग दो गाड़ियों में जाने वाले थे.
एक गाड़ी में मम्मी पापा और भाई … और दूसरी में मैं, हर्षि दीदी और उसकी एक सहेली समेत हम तीन लोग थे.
दीदी की सहेली का नाम स्नेहा था.
मुझे पहले दीदी को भटिंडा लेने जाना था, जिसके लिए तीन घंटे लगने वाले थे.
मैं जाने लगा तो मम्मी ने कहा- तू अपने साथ स्नेहा को भी लेता जा. वह भी गाड़ी चला लेती है. यदि गाड़ी चलाने में जरूरत हुई तो उसका तेरे साथ जाना सही रहेगा.
मैंने हामी भर दी और मैं दीदी की सहेली को अपने साथ लेकर चल दिया.
उस वक्त गाड़ी मैं चला रहा था और दीदी की सहेली मेरे साथ बैठी थी. sexy sister ko choda
हम लोग गाड़ी चलाते चलाते लगभग 2 घंटे में भटिंडा पहुंच गए.
मैंने गाड़ी से उतर कर दीदी के पैर छुए और जानबूझ कर उनकी जांघ पर हाथ लगा दिया.
इतनी मुलायम और कदली सी जांघ को हाथ लगाकर मेरा लौड़ा खड़ा हो गया.
उस समय मेरा मन कर रहा था कि दीदी को यहीं पटक कर चोद दूं.
मैंने किसी तरह अपने ऊपर कंट्रोल किया.
फिर मैं और दीदी की सहेली, दीदी के घर में चले गए.
दीदी हमारे लिए चाय बनाने लगीं और मैं और दीदी की सहेली एक साथ सोफे पर बैठ गए.
उस समय मैं ड्राइव करके आया था, तो पैर पसार कर बैठ गया था.
दीदी की सहेली मेरे पैर के पास बैठ गई थी.
उस वक्त मेरी टांग दीदी की सहेली की गांड के साथ लग रही थी.
मैंने लात लगने से जरा उठ कर अपना हाथ उसकी गांड को सहलाने के नजरिए से फेर दिया और उससे सॉरी कहने लगा.
वह कुछ नहीं बोली और मैंने अपना हाथ उसकी गांड से नहीं हटाया. sexy sister ko choda
मैं सीधा बैठ गया था और अपना हाथ उसकी गांड से सटाए हुए रखे रहा.
अब दीदी की सहेली भी समझ गई थी कि मैं जानबूझ कर हाथ उसकी गांड पर रखे हुए हूँ.
तो वह भी मुझको गर्म करने वाली हरकतें करने लगी थी.
दीदी की सहेली ने जानबूझ कर अपना एक चूतड़ मेरी हथेली के ऊपर रख दिया तो मैंने उसकी गांड में उंगली चला दी.
मुझे बड़ा मजा आ रहा था और उसकी गांड भी मेरी हथेली पर रगड़ने जैसी आगे पीछे होने लगी थी.
तभी दीदी चाय लेकर आ गई और हम लोग चाय पीने लगे.
चाय पीते पीते दीदी ने रास्ते को लेकर मुझसे पूछा- तुझे कोई दिक्कत तो नहीं हुई?
मैंने कहा- नहीं दीदी, बस हल्की सी थकान हुई और कोई दिक्कत नहीं हुई.
फिर हम लोग जाने के लिए रेडी हो गए.
दीदी गाड़ी नहीं चला पाती हैं इसलिए उन्होंने अपनी सहेली से कहा- स्नेहा अब तुम सारे रास्ते गाड़ी चलाओगी और मैं और विजय पीछे बैठेंगे. विजय थक गया होगा.
अब मेरी दीदी की सहेली गाड़ी चला रही थी. sexy sister ko choda
मैं और हर्षि दीदी पीछे बैठे हुए थे.
स्नेहा गाड़ी बढ़िया चला रही थी और हम लोग आपस में बात करते हुए जा रहे थे.
जब दीदी बैठी थी तो मैंने धीरे से अपना हाथ दीदी की जांघ पर रख दिया और इंतजार करने लगा कि दीदी क्या कहती हैं.
मगर उन्होंने कुछ नहीं बोला.
कुछ देर बाद मैं अपनी दो उंगलियां दीदी की गांड के नीचे दबाने की कोशिश करने लगा.
पर नाकाम रहा.
फिर हम हाईवे पर एक ढाबे पर रुक कर खाना खाने के लिए रुके.
आधा घंटा बाद जब हम सब वापस गाड़ी में जाने लगे और इस बार जैसे ही अन्दर बैठे तो मैंने पहले सीट पर बैठ कर अपना एक हाथ उनकी बैठने की जगह पर रख दिया.
हर्षि दीदी मेरे हाथ पर ही बैठ गईं और उनकी बड़ी सी गांड के नीचे मेरा हाथ दब गया था.
इस अहसास से कि मेरी हथेली के ऊपर दीदी की मखमली गांड है, मेरा लंड सातवें आसमान पर था.
वे मेरे हाथ को अपनी गांड से रगड़ने लगी थीं.
उससे मुझे समझ आ गया था कि दीदी भी चुदासी हैं. sexy sister ko choda
रास्ते में मेरे हाथ का बुरा हाल हो गया था.
मुझे भारी मजा आ रहा था.
ऐसा लग रहा था कि दीदी मेरा हाथ अपनी गांड में लेना चाहती हैं.
हवस के मारे मेरा बुरा हाल हो रहा था.
फिर हम सब चंडीगढ़ पहुंच गए और मैं जल्दी से बाथरूम में चला गया.
सबने यही समझा कि मैं सुसू करने गया हूँ.
मैंने अन्दर जाकर लंड बाहर निकाला और तबीयत से मुठ मारी.
फिर कपड़े सही करके मैं बाहर आ गया.
उसके बाद आधा घंटा रुक कर हम लोग उत्तराखंड के लिए निकल पड़े.
मम्मी और पापा की गाड़ी आगे थी और हमारी पीछे पीछे थी.
स्नेहा ही गाड़ी चला रही थी.
मैं दीदी के पास पीछे की सीट पर था. sexy sister ko choda
कुछ ही देर बाद मैंने दीदी के करीब होकर उनके कंधे पर सर रख दिया और सो गया.
क्या बताऊं दोस्तो, मुझे दीदी के जिस्म की मादक महक ने अति उत्तेजित कर दिया था.
मैं जानबूझ कर दीदी के ऊपर चढ़ता गया और एक तरह से उनके ऊपर ही चढ़ गया.
उनका एक दूध मेरे हाथ में आ गया तो मैंने उसे दबा दिया.
दीदी बोली- विजय, ये क्या कर रहा है? सीधा बैठ ना.
मैं डर गया और सीधा होकर बैठ गया.
कुछ देर बाद मैं फिर से चालू हो गया.
अब दीदी ने अपनी सहेली से कहा- स्नेहा, जरा गाड़ी रोक.
उस टाइम रात के 2 बजे थे.
दीदी ने गाड़ी में ही मेरे चार पांच थप्पड़ मारे.
वह बोली- साले हवसी, मैं तेरी बहन हूँ.
मैं रोने लगा और बोला- सॉरी दीदी, नींद में ऐसा हो गया … आगे से ऐसा नहीं होगा.
दीदी ने कुछ देर गुस्सा किया और शांत हो गईं.
तब दीदी ने स्नेहा से गाड़ी आगे बढ़ाने के लिए कह दिया.
स्नेहा की बुद्धि भी कुछ अलग सोच रही थी.
उसने आगे एक ढाबे पर गाड़ी रोक दी.
फिर हम सब उतर कर ढाबे पर आए और चाय पीने बैठ गए. sexy sister ko choda
मैंने दीदी से फिर से माफी मांगी और उनसे अलग होकर बैठ गया.
मगर दिमाग में तो दीदी की मदमस्त जवानी की महक घुसी हुई थी.
कुछ देर बाद मैंने अपने मोबाइल में पोर्न वीडियो चला दी और दीदी के सामने बैठ कर देखने लगा.
उसकी सहेली स्नेहा मेरे बाजू में बैठी थी.
आवाज धीमी थी, पर तब भी उस कामुक आवाज को सुनकर दीदी गुस्सा करने लगीं.
दीदी बोलीं- साले, सुधरा नहीं तू … चल तू मेरे साथ. मैं तुझे बताऊंगी कि हवस क्या होती है साले.
मैंने उनकी आंखों में देखा, तो वे उठ खड़ी हुईं और मेरा हाथ पकड़ कर मुझे घसीटती हुई झाड़ियों में ले गईं.
उधर से ढाबा का कुछ नहीं दिख रहा था.
वहां जाकर दीदी ने अपना कुर्ता निकाला और अपना एक बड़ा वाला दूध मेरे मुंह में ठूंस दिया.
मैं देखता ही रह गया कि ये क्या हुआ.
तभी उन्होंने अपनी चूची को मेरे मुँह में दबाते हुए कहा- चूस भोसड़ी के … साले कुत्ते दूध निकाल इनमें से भैन के लंड!
मैं उनकी आंखों में आंखें डालकर उनका दूध पीने लगा.
दोस्तो, इतना मुलायम थन चूस कर भारी मजा आ गया था. sexy sister ko choda
एक एक करके दीदी ने अपने दोनों दूध मुझसे चुसवाए और वे चुदासी सी होने लगी थीं.
मैंने कहा- दीदी, मुझे आपकी चूत मारनी है?
दीदी ने फिर से थप्पड़ मारा और कहा- साले तुझे अपनी बहन की चूत चाहिए. ले कमीने चूत चाट मादरचोद.
उन्होंने मुझे जमीन पर लिटाया और अपनी लोअर पैंटी समेत नीचे खिसका कर मेरे मुंह पर अपनी चूत रख दी.
मैं दीदी की चूत चाटने लगा और उसमें उंगली करने लगा.
शायद दीदी गर्म होने लगीं और वासना से तड़पने लगीं.
अब उनकी चूत मेरे काबू में आ गई थी.
वे अपनी कमर चलाती हुई मेरे मुँह से अपनी चूत रगड़वाने में मस्त होने लगी थीं, तो बोलीं- विजय मस्त चूसता है तू भोसड़ी के आह रगड़ मादरचोद अपनी बहन की चूत चूस कर झाड़ दे कमीने.
अब मैं भी बोला- साली रंडी … अब चूत चटवाने बड़ा मजा आ रहा है तुझे … तब तो थप्पड़ मार रही थी. साली तड़प अब बहन की लौड़ी.
ये कह कर मैं उनकी चूत से अलग हो गया.
वे चुदाई के लिए कहने लगीं(sexy sister ko choda)
चुदाई की सुनकर मैंने तुरंत लौड़ा निकाला और उनको चित कर दिया.
वे टांगें खोल कर चूत उठाने लगीं.
मैंने भी देर न करते हुए दीदी की चूत में लंड सैट कर दिया और एक ही झटके में पूरा लौड़ा अन्दर पेल दिया.
दीदी एकदम से लंड घुसा तो चिल्लाने लगीं- आह मां के लौड़े … धीरे नहीं पेल सकता था हरामी साले!
मैंने लगातार 15 मिनट तक दीदी की चूत मारी और लौड़ा दीदी की गांड में धकेल दिया.
कुछ देर गांड मरवाने के बाद दीदी की गांड में ही मैं लंड झाड़ने की सोची मगर दीदी ने गांड से लौड़ा निकलवा दिया और उसे चूसने लगीं.
दो मिनट के बाद मैं झड़ गया और मैंने अपनी दीदी के मुँह पर वीर्य से उनके मुँह का फेशियल कर दिया.
अपने माल को दीदी के मुँह पर फैला दिया.
कुछ देर बाद हम तीनों लोग गाड़ी में आ गए.
उस वक्त मेरा होश उड़ गया जब मैंने देखा कि दीदी की सहेली उनसे बोल रही थी- मैंने तुम लोगों को चूत चुदाई करते हुए देख लिया है.
दीदी ने कहा- स्नेहा साली रंडी, तू साफ साफ बोल तुझे क्या चाहिए? sexy sister ko choda
वह हंसती हुई बोली- मुझे भी चूत की सर्विसिंग करवानी है.
दीदी बोलीं- ये तो तुझे इस हरामी से कहना पड़ेगा.
स्नेहा मुझसे बोली- अगर तू चाहता है कि यह बात मैं अंकल आंटी से न कहूँ तो तुझे मुझे और हर्षि को चोदना होगा.
मैंने कहा- तो मैंने मना कब किया है स्नेहा रानी. चल लगा दे एक तरफ को गाड़ी और हो जा नंगी. अभी चोदे देता हूँ दोनों रंडियों को.
ये सुनते ही उसने कार को सड़क से उतार कर एक कच्चे रास्ते पर अन्दर ले जाकर रोक दी और मेरी पैंट खोल कर लंड निकाल कर चूसने लगी.
उसने मेरे लंड की मुठ मार दी ताकि मैं जल्दी न झड़ जाऊं.
लंड की लगातार चुसाई से लंड फिर खड़ा हो गया था.
फिर वो बोली- अब चोद!
मैं बोला- आ जा दोनों …. मैं आज हर्षि दीदी और तुझे एक साथ चोदूंगा और वो भी तुम दोनों को कुतिया बना कर एकदम मस्त तरीके से चोदूंगा.
वे दोनों गांड हिलाती हुई गाड़ी के बोनट से टिक कर खड़ी हो गईं.
मैंने स्नेहा की चूत में पीछे से लंड पेला तो वह कुतिया की तरह काईं काईं करने लगी ‘आह धीरे पेल विजय … साले बहुत दिन से लंड नहीं लिया है.’
कुछ देर बाद स्नेहा मजे से चुदने लगी.
मैंने उसकी चूत में से लौड़ा निकाल कर दीदी की चूत में पेल दिया. sexy sister ko choda
इस तरह से बीस मिनट में एक लंड से दो चूत की चुदाई का मजा लिया गया.
फिर हम लोग गाड़ी में चल पड़े और गाना बजा दिया.
अभी भी स्नेहा ही गाड़ी चला रही थी और मैं दीदी की गांड को कपड़ों के ऊपर से ही सहला रहा था.
कुछ देर बाद दीदी ने लंड पकड़ लिया और मैं समझ गया कि मामला फिर से गर्म हो गया है.
चलती गाड़ी में मैंने दीदी से कहा- मुझे आपकी गांड मारनी है.
दीदी भी गांड मरवाने का शौक रखती थीं.
वे बोलीं- चल आ जा.
कपड़े हटा कर मैंने उनकी गांड में लंड पेल दिया तो मुझे समझ आ गया कि दीदी की गांड में लंड की एंट्री होती रहती है. sexy sister ko choda
मैंने उनसे पूछा तो उन्होंने गांड मरवाते हुए कहा- तू गांड मार साले … ज्यादा वैज्ञानिक न बन कि मेरी गांड में किसके लौड़े जाते हैं.
तो मैंने कहा- बता दे न किसका लौड़ा खाती है? साली पंजाब में रहकर तेरी गांड बड़ी हो गयी है. पता नहीं कितने पंजाबी मुंडों का लौड़ा लेती है.
बहन ने पलट कर मुझे एक थप्पड़ मारा और बोलीं- साले कुत्ते, सारा भटिंडा चढ़ता है मेरे ऊपर रोज शाम को. तू गांड मार बस!
फिर मैंने बीस मिनट तक हॉट बहन की गांड मारी और उनके अन्दर ही झड़ गया.
हम दोनों अलग होकर बात करने लगे. sexy sister ko choda
दीदी ने कहा- अब तक कितनी चोद चुका है साले. बड़ी देर देर तक लंड पेले रहता है.
मैं हंसने लगा और बोला- कोई गिनती ही नहीं है. न जाने कितनी निकल गईं मेरे लौड़े के नीचे से. घर में बस आपको चोदने का बड़ा मन था. दीदी, अभी तो मम्मी को भी चोदने का मन है.
दीदी बोलीं- साले मम्मी को तो छोड़ दे अब!
स्नेहा को चुदने का मन फिर से करने लगा था.
उसने चुदाई के लिए कहा.
तो दीदी बोलीं- नहीं फिर से गाड़ी सड़क पर मत रोकना … हरिद्वार में होटल में रुकेंगे, वहां कर लेना.
इस पर स्नेहा बोली- ठीक है.
मैं भी बोला- ठीक है.
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